कोरोना योद्धा के रूप में कई संस्थाओं द्वारा सम्मानित हुए डा. अवधेश कुमार अवध


नीति सिंह प्रेरणा, शिक्षा वाहिनी समाचार पत्र।

 

विश्विक महामारी कोविड -19 ने सबको अपनी जद में कर रखा है। इसको रोकने में कुछ साहित्यकारों ने भी अपनी लेखनी, ऑडियो-विडियो तथा विविध माध्यमों से कोरोना योद्धा के रूप में उल्लेखनीय कार्य किया है। इसी कड़ी में साहित्यकार डॉ अवधेश कुमार अवध को कई संस्थाओं ने उनके विशिष्ट योगदान के लिए सम्मान पत्र देकर सम्मानित किया।


ज्ञात हो कि डॉ अवध उत्तर प्रदेश के चन्दौलीं जिले के मूल निवासी हैं और बारह वर्षों से मेघालय के मैक्स सीमेंट मैन्युफैक्चरिंग इकाई में एक अभियंता के रूप में कार्यरत हैं। एक साहित्यकार, संपादक और पत्रकार के रूप में सदैव अपने दायित्वों का पालन पूरी निष्ठा से करते हैं। सच की दस्तक (मैगजीन ऑव इंडिया) ने इन्हें विश्व शान्ति एवं मानवता सम्बंधी उत्कृष्ट कार्य तथा उत्कृष्ट सहयोग के लिए तत्सम्बंधी दो सम्मान पत्र देकर सम्मानित किया। मातृभाषा उन्नयन संस्थान की ओर से कोरोना के सम्बंध में जागरुकता फैलाने तथा अफ़वाहों को रोकने के लिए शपथ लेने के उपलक्ष्य में सम्मान पत्र देकर सम्मानित किया। विश्व स्वास्थ्य संगठन से सम्बद्ध आई एफ एस ने फोरेंसिक साइंसेज क्विज में उल्लेखनीय सहभागिता के लिए सर्टिफिकेट ऑव अचीवमेंट सम्मान से सम्मानित किया। 


विकसित देशों के गगनचुम्बी ग्रॉफ हों या विकासशील देशों के उत्थान-पतन वाले ग्रॉफ, आज कोरोना से कोई अछूता नहीं रहा। हर देश को स्वयं की नीतियों की पुनर्समीक्षा करना आवश्यक हो गया है। विश्व की लगभग आधी करोड़ आबादी इसकी चपेट में है तो युद्ध स्तर पर लड़ते हुए भारत ने इसे अब तक एक लाख भी न होने दिया। विश्व स्वास्थ्य संगठन को अपनी साख, चीन को राष्ट्रीय सम्प्रभुता, अमेरिका जैसे देशों को राजनीतिक दादागिरी तो भारत को समन्वय की भावना को बचाये रखना मुश्किल हो गया है।


सरकार के सहयोग से डॉक्टर, नर्सिंग स्टॉफ, पुलिस, स्थानीय प्रशासन, स्वयं सेवी संस्थाएँ पूरी जगरुकता से इस बीमारी को सीमित करने में जी- जान से जुड़ी हैं जिनको कोरोना योद्धा का नाम दिया गया है। केन्द्र सरकार ने कोरोन योद्धाओं के सम्मान में कई कार्यक्रम भी आयोजित किया। अभी हाल में ही विमान से पुष्प वर्षा भी करायी गई। कोरोना योद्धा डॉ अवधेश कुमार अवध ने स्वयं के सम्मानित किए जाने पर कोविड-19 से जुड़े हर व्यक्ति का सम्मान बतलाया तथा आश्वासन दिया कि जल्दी ही हम आत्मनिर्भर होकर इस महामारी पर विजय पा सकेंगे।


मेघालय

Post a Comment

Previous Post Next Post