डेढ सौ योग वॉलिंटर्स को दी दीक्षा संक्रामक योग प्रचारक बनने की शपथ

शि.वा.ब्यूरो, सहारनपुर। मोक्षायतन योग संस्थान में 10 फरवरी से प्रारम्भ हुआ फाउन्डेशन कोर्स का दीक्षांत समारोह आज यज्ञ, गुरु उपदेश और दीक्षित होने के बाद बुनियादी योग प्रचारक बने भारत योगियों द्वारा संकल्प के साथ संपन्न हो गया। मोक्षायतन योग संस्थान और आयुष मंत्रालय भारत सरकार के इस संयुक्त अभियान के अंतर्गत सहारनपुर मुख्यालय के अतिरिक्त  मुरादाबाद, नोएडा और ग्रामीण क्षेत्रों में योगमय गुणवत्तापूर्ण जीवन के प्रति जागृति के लिए रामपुर मनिहारान आदि केंद्रों पर भी भारत योग के प्रमाणित योगाचार्यों नवनीश कांत  शर्मा, अनीता शर्मा, सीमा गुप्ता, मनीषा गर्ग, ऋचा बड़थ्वाल, पुनीत गर्ग, विक्रांत, प्रदीप कंबोज आदि ने कोर्स कोऑर्डिनेटर नंद किशोर शर्मा और अमित गर्ग के कठोर मार्ग दर्शन को सराहा। 

संस्थान के  सहारनपुर बेरी बाग स्थित अंतर्राष्ट्रीय मुख्यालय पर संस्था के  परमाध्यक्ष  पद्मश्री स्वामी भारत भूषण द्वारा सभी फाउंडेशन कोर्स वॉलिंटियर्स के  रूप में प्रशिक्षित  योग साधक/साधिकाओ को प्रमाण पत्र जारी किए गए। एक माह के कोर्स को करने वाले सभी योग प्रशिक्षार्थियों ने योग के सूक्ष्म आयामों को सीखा।प्रशिक्षणार्थियों ने बताया कि अपने लिए योगाभ्यास करने से आगे बढ़कर योग पढ़ने और योग प्रचारक के रूप में स्वयं को गुरुदेव स्वामी भारत भूषण जी के परिपक्व  मार्गदर्शन में गढ़ने का ये अनूठा अनुभव था जो हमारे जीवन में रूपांतरणकारी अध्याय की शुरुआत है। साधिका सोनल,  माला शर्मा और कुमार वैभव ने कहा कि  सभी प्रशिक्षुओं का कहना है कि आज कोर्स का भले ही समापन हो रहा हो लेकिन हमारे जीवन की एक नई शुरुआत हो रही है, इस अवधि में हमने जीवन के सार को समझा है। 

उत्साहित नव प्रशिक्षित योग वॉलिंटियर्स ने अपनी भावना प्रकट करते हुए कहा कि गुरु मां आचार्या प्रतिष्ठा के मार्गदर्शन में अब योग के लिए समर्पित हो कर कार्य करने में जीवन की सार्थकता है। प्रशिक्षुओं ने आश्रम के योगाचार्यों के अनुशासन की दृढ़ता और प्रेम की उदारता को सराहा और कहा कि योग से स्व को जानकर अब हम भारत योगी के  रूप में मानव निर्माण व राष्ट्र निर्माण में अद्भुद योगदान देकर  भारतीय संस्कृति को जाग्रत करने का कार्य करेंगे।

मुख्य अतिथि स्वामी भारत भूषण ने आशीर्वचन स्वरूप प्रशिक्षुओं को प्रमाद रहित रहते हुए सतत जिज्ञासा, सतत प्रयास, धैर्य और सेवा के संकल्प का मंत्र दिया। पूरे प्रशिक्षण को शत-प्रतिशत उपस्थिति, कार्य गुणवत्ता और आदर्श आचरण के साथ पूरा करने के लिए योगाचार्यों की संस्तुति पर गुरु स्वामी भारत भूषण ने लिए सात छात्र छात्राओं माला शर्मा, सोनल, अभिषेक बर्मा, कंचन बोरा, रिंकी कांगडा, दीक्षा व पूनम वर्मा को संस्थान की एक वर्ष की पूर्ण नि: शुल्क सदस्यता पुरुस्कार स्वरूप  प्रदान की जिस पर पतंजलि सभागार तालियों से गूंज उठा।
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