उम्मीद की एक किरण 


राज शर्मा, शिक्षा वाहिनी समाचार पत्र।

 

विपदा घेरे अंधियारा करे, षड्यंत्र रचे सब ओर।

उम्मीद की जब दिख जाए,फिर जगमग चहुं ओर।।

 

समस्या आए चहुं दिशि, किए मार्ग सबअवरुद्ध।

खुद पर तब विश्वास करें,मरुत हो कितनी विरुद्ध ।।

 

लक्ष्य पर निशाना साध के, मन में हो दृढ़ संकल्प।

धैर्य का तब ब्रह्मास्त्र चलाए,उम्मीद हो जहां अल्प।।

 

सिख नभ के रजनीश से, एकांकी अंधियारा भगाए।

रात्रि के पथिक को दिखाए,उम्मीद की किरण दिखाए।।

 

उम्मीद चमत्कार एक ही है , कर ले खुद पर विश्वास ।

जब कछु न दिखे तुझे , अंतर में लगा तब अरदास।।

 

आपत्ति बाण से बाण मारे, पल पल करें जब प्रहार।

उठ जा दृढ़ संकल्प से तू, हिम्मत न कभी भी हार।।

 

मंजिले बंधे से न बंधे कभी, समय का न रुके पहिया।

तू भी अब कमर कस दे , न कर अब तू अठखेलियां

 

संस्कृति संरक्षक, आनी (कुल्लू) हिमाचल प्रदेश

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