शि.वा.ब्यूरो, लखनऊ। उत्तर प्रदेश की योगी सरकार निजी स्कूलों में पढ़ा रहे करीब साढे तीन लाख शिक्षकों को बड़ी राहत देने की योजना बना रही है। विभागीय सूत्रों की मानें तो निजी स्कूलों के शिक्षकों की सेवा नियमावली को आगामी कैबिनेट की बैठक में पास करवाने की तैयारी हो रही है। सेवा नियमावली को मंजूरी मिलने के बाद निजी स्कूलों के शिक्षकों को अंशकालिक की जगह पूर्णकालिक शिक्षक माना जाएगा, इतना ही नहीं शिक्षकों का सेवा अनुभव भी जोड़ा जाएगा और शिक्षकों की सेवा नियमावली पास होने के बाद प्रबंधक उन्हें मनमाने ढंग से नहीं निकाल पाएंगे। इसके लिए आॅनलाइन व्यवस्था तैयार की जायेगी।
वैसे तो आम धारणा है कि भाजपा सरकार शिक्षा की गुणवत्ता के प्रति संवेदनशील हैं। योगी सरकार ने इससे भी एक कदम और आगे बढ़ाते हुए निजी स्कूलों को टक्कर देने के लिए सरकारी प्री प्राइमरी कक्षाएं जल्द ही शुरू करने की योजना पर मंथन करना आरम्भ कर दिया है। विभागीय सूत्र बताते हैं कि 3 से 5 साल के नौनिहालों के लिए ये प्री प्राइमरी कक्षाएं शुरू की जायेंगी।
जानकारों की मानें तो महानिदेशक स्कूली शिक्षा विजय किरण आनंद की कमेटी ने इस पर काम करना शुरू भी कर दिया है। इतना ही आंगनवाड़ी की एक्टिविटी बुक पहल भी प्री प्राइमरी पाठ्यक्रम के अनुसार तैयार होगी और 3 से 5 वर्ष के बच्चों को प्री प्राइमरी कक्षाओं में अनौपचारिक शिक्षा दी जाएगी। सरकारी प्री प्राइमरी कक्षाओं के लिए शिक्षक अलग से तैनात किये जायेंगे।