शि.वा.ब्यूरो, देहरादून। उत्तराखंड के राष्ट्रीय कोच विरेन्द्र सिंह रावत 15 मार्च से लगातार 75 दिनों से उत्तराखंड और भारत के समस्त खिलाड़ी, कोच, रेफरी और आम इंसान को अपने 50 साल के अनुभव को हर तरह से प्रोत्साहित कर रहे हैं। उन्होंने अपने किरायेदारों को 2 माह का किराया माफ कर दिया है, इसके साथ ही 4 महीने की कोचिंग फीस भी माफ कर रखी है। आमदनी बंद होने के बावजूद श्री रावत अपने दायित्वों को पूरी ईमानदारी से निभा रहे हैं।
बता दें कि 2020 मे ऑल इंडिया गढ़वाल यूथ कप अंडर 15, 19 बालक और सीनियर बालिका का और ऑल इंडिया उत्तराखंड आंदोलनकारी शहीद मेमोरियल फुटबॉल टूर्नामेंट ओपन बालक ऐज फुटबाल के टूर्नामेंट नहीं होंगे। दोनों टूर्नामेंट मे लगभग 62 टीम पूरे भारत से आती थी, इसमें प्रतिभाग करने वाले सभी को खिलाड़ियों को सर्टिफिकेट दिए जाते थे, जो खिलाड़ी कोटे में नौकरी प्राप्त करने में सहायक होते हैं। इस वर्ष खिलाडी, कोच और रेफरी सभी को मार्च से लेकर अभी तक और आगे भी परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है।
विरेन्द्र सिंह रावत कोविड़ 19 के कारण देशव्यापी लाॅकडाउन में 75 दिनों से खिलाड़ी बच्चों को फुटबाॅल खेलने की प्रेरणा देते हुए उनका मार्गदर्शन कर रहे हैं। उन्होंने कहा है कि इस संकट की घड़ी में देश के 130 करोड़ लोग एकजुटता का परिचय दे रहे हैं, जिसके बल पर कोरोना के खिलाफ ये लड़ाई हम जरूर जीतेंगे। उन्होंने संदेश दिया है कि स्वस्थ रहें, मस्त रहें, फिट रहें, हमेशा नशे से दूर रहें, साफ-सफाई करते रहें, घर पर रहें और व्यस्त रहें।