एसपी पटेल, शिक्षा वाहिनी समाचार पत्र।
99% बच्चे स्वस्थ पैदा होते हैं अर्थात् बच्चों के स्वास्थ्य का ब्लू प्रिन्ट पूर्ण स्वास्थ्य को दर्शाता है|इसीलिए बहुत सारे लोग 100 साल से भी ऊपर की स्वस्थ जिंदगी का आनंद लेते हैं जबकि बहुत सारे लोग ऐसे भी हैं जो कम आयु में भी गंभीर बीमारी से ग्रस्त हो जाते हैं|यदि हमारा खाना पीना कैमीकल मुक्त रहे,रेडिएशन से वातावरण मुक्त रहें और नजरिया/द्रष्टिकोण पूर्ण सकारात्मक रहे तो हम पूर्ण स्वस्थ रहकर 100 बर्ष से भी ऊपर के जीवन का आनन्द ले सकते हैं| कैमीकल और रेडिएशन स्वास्थ्य पर प़तिकूल प़भाव डालते हैं परन्तु नकारात्मक नजरिया अधिक प़भावशाली होता है क्योकि हमारे शरीर की सबसे छोटी इकाई कोशिका नकारात्मक बिचारों से अधिक प़भावित होती है,जबकि हमारी कोशिकाओ में प़त्येक प़कार का रस/एंटी केमिकल बनाने की क्षमता है जो किसी भी प़कार की बीमारी के कारण को नष्ट करने की क्षमता रखती है,परन्तु हमारी कोशिकाएं तभी प़भावशाली रस बनाने मे सक्षम होती हैं जब हम सदैव पूर्ण सकारात्मक रहते हैं और पहले से हमारे मस्तिष्क में अनजान तरीके से समाहित हो चुके नकारात्मक विचार निष्क्रिय अवस्था में हों|
वास्तविकता मे हमें यह अहसास ही नही होता कि हमारे मस्तिष्क अर्थात् अवचेतन मन(subconscious mind)मे कोई नकारात्मक बिचार अपनी जगह ले चुका है और यह हमे अपनी उपस्थिति का अहसास किये बिना कोशिकाओ पर प़भाव डालता रहता है,जिसके कारण बीमारियां पैदा होकर धीरे धीरे बढती चली जाती हैं और हमें तब मालूम पडता है जब वह पूर्ण बिकसित हो जाती हैं|
हम केमिकल युक्त खाने योग्य चीजों का परित्याग करके एवं हमारे मस्तिष्क में पहले से अनजाने में समाहित हो चुके नकारात्मक विचार जिनका हमें आभास तक नहीं हो रहा है उन्हें मनोवैज्ञानिक कार्यक्रमों से जान करके हम निष्क्रिय करके भी स्वस्थ रह सकते हैं एवं गंभीर से गंभीर बीमारी से छुटकारा भी पा सकते हैं |
बदायूं, उत्तर प्रदेश